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मायावती के ट्वीट व थानाध्यक्ष पंकज सोनकर की एससी हितैषी मांसिकता से शिवगुलाम का पुरवा में ब्राह्मण, क्षत्रिय व मौर्य बिरादर पर लगा एससी एसटी एक्ट।

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रायबरेली। पूर्व मुख्यमंत्री मायावती के ट्विट करने के बाद पुलिस महकमे में मचा हड़कंप, जांच करने पहुंचीं आईजी बीती 12 नवंबर को डीह थाना क्षेत्र के पूरे शिवगुलाम मजरे गढ़वा गांव में दो पक्षों के बीच हुई मारपीट के मामले में दोनों पक्षों के लोग घायल हो गए थे। वहीं घायल दो दलितों को इलाज के लिए जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया था। दोनों पक्षों की ओर से मिली तहरीर के आधार पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज करके एक आरोपी को गिरफ्तार कर लिया।

दलित बिरादरी के साथ हुई मारपीट की घटना की निंदा करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने ट्विटर पर ट्विट करते हुए नाराजगी जताई। इसके बाद पूरे पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया। मामले की जांच करने के लिए सोमवार को पहुंची आईजी ने दोनों पक्षों से बातचीत की और मामले में निष्पक्ष जांच के बाद कारवाई किए जाने का आश्वासन दिया। थाना क्षेत्र के पूरे शिवगुलाम मजरे गढ़वा गांव के रहने वाले शैलेन्द्र शुक्ला उर्फ बाबा और नया पुरवा मजरे डीह गांव के रहने वाले विनोद कुमार ट्रैक्टर चालक से बाइक से ओवरटेक करते समय शैलेन्द्र के छोटे भाई अंकुर शुक्ला से कहासुनी हो गई थी। इसी मामले में विनोद कुमार अपने दो दर्जनों साथियों के साथ बीती 12 नवंबर को दिन में करीब चार बजे गांव पहुंचकर घर पर धावा बोल दिया।


रायबरेली पुलिस का भ्रामक बयान


गांव में हमला करने पहुंचे लोगों को देखकर ग्रामीण एकजुट हो गए और दोनों पक्षों के बीच जमकर मारपीट शुरू हो गई। मारपीट में महिलाओं समेत दोनों पक्षों के कई लोग घायल हुए हो गए थे। वहीं दलित बिरादरी से दो युवक गंभीर रूप से घायल हुए थे। मौके पर पहुंची पुलिस ने घायल दोनों दलितों को इलाज के लिए जिला अस्पताल में भर्ती कराया था। वहीं दलित बिरादरी की ओर से पुलिस को मिली तहरीर के आधार पर शैलेन्द्र शुक्ला, अंकुर, प्रियांशु मौर्या, शिव सिंह समेत पांच नामजद और आठ अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज करते हुए एक आरोपी को हिरासत में ले लिया।

जबकि गांव पहुंचकर घर के अंदर घुसकर मारपीट करने और घर की महिलाओं से अभद्रता व हवाई फायरिंग के साथ सोने चांदी के जेवरात छीनने का आरोप लगाते हुए पीड़िता पिंकी पत्नी शैलेन्द्र शुक्ला ने पुलिस को तहरीर देकर मुकदमा दर्ज कराया है। पीड़िता की तहरीर के आधार पर विनोद कुमार, अरविंद कुमार निवासी नया पुरवा, मनोज कुमार, गंगा गोसाई का पुरवा, धर्मेन्द्र कुमार, बृजेश, चन्द्र प्रकाश निवासी पूरे गोसाई समेत 17 नामजद व 18 से बीस अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है।


13 लोगों पर दर्ज हुआ एससी एसटी का मुकदमा


दूसरे पक्ष ने लगाया मारपीट का आरोप, दर्ज कर लिया केस
डीह पुलिस को दूसरे पक्ष ने मारपीट का आरोप लगाते हुए तहरीर दी और आननफानन पुलिस ने रिपोर्ट भी दर्ज कर ली। इसको लेकर पुलिस पर सवाल उठ रहे हैं। डीह थाना क्षेत्र के पूरे नया मजरे डीह निवासी राजेंद्र कुमार पासी का आरोप है कि 12 नवंबर को मेरा भाई विनोद ट्रैक्टर-ट्रॉली पर लकड़ी लादकर घर आ रहा था, तभी विपक्षियों ने ट्रैक्टर को साइड देने को लेकर विवाद करते हुए मारपीट की। मामले में पुलिस ने पूरे शिव गुलाम गांव निवासी शैलेंद्र शुक्ला उर्फ बाबा शुक्ला, अंकुर शुक्ला, शैलेंद्र शुक्ला की पत्नी, शिव सिंह, प्रियांशु और आठ अज्ञात हमलावरों के खिलाफ जानलेवा हमला, मारपीट, एससी/एसटी एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया है।

दूसरे पक्ष के आरोप की कराई जा रही जांच : सीओ

पूरे शिव गुलाम मजरे गड़वा गांव निवासी शैलेंद्र शुक्ला उर्फ बाबा शुक्ला का पूरे नया मजरे डीह निवासी राजेंद्र कुमार पासी के भाई विनोद कुमार पासी से विवाद हो गया था। बस इतनी सी बात पर राजेंद्र समेत करीब 24 हमलावरों ने शाम छह बजे शैलेंद्र के घर पर लाठी-डंडे और असलहे से लैस होकर धावा बोल दिया। हमलावरों ने खूब नंगानाच किया। घर में तोड़फोड़ की। गृहस्थी का सामान तहस-नहस कर दिया। दहशत फैलाने के लिए कई राउंड हवाई फायरिंग की।


देखिये नीचे पड़ा अवैध असलहा भीमार्मी के हमलावरों का


वहीं मामले में पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने मारपीट की घटना की निंदा करते हुए ट्विट किया कि रायबरेली जिले में दलितों पर उत्पीड़न हो रहा है और दलितों की पिटाई की जा रही है। पूर्व मुख्यमंत्री के ट्विट करते ही पूरे पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया। घटना की जांच करने के लिए सोमवार को दिन में करीब चार बजे आईजी लक्ष्मी सिंह ने थाने पहुंचकर जांच पड़ताल की और पुलिस हिरासत में लिए गए आरोपी से पूछताछ की।

आईजी के पहुंचते ही मौके पर एसपी आलोक प्रियदर्शी और एएसपी विश्वजीत श्रीवास्तव भी पहुंच गए। आईजी ने घटना की जांच करने के लिए दोनों पक्षों को थाने बुलाकर बातचीत की और शांति व्यवस्था बनाए रखने के उद्देश्य से पुलिस को कार्रवाई के संख्त निर्देश दिए। आईजी ने करीब दो घंटे तक इस घटना की बारीकी से जांच की और मामले की निष्पक्ष जांच करने के बाद आगे की कार्रवाई के निर्देश दिए।

 

पुलिस कार्यवाही व बयान एससी एसओ पंकज सोनकर की एससी मांसिकता से ग्रसित

आखिरी सच की पड़ताल में यह निकलकर  आया कि लगभग 40 से 50 की संख्या में भीमार्मी व एससी समुदाय के युवक कई दो पहिया गाड़ियों से गड़वा ग्राम पंचायत के शिवगुलाम का पुरवा पहुंचे थे, व खुले आम असलहा लाठी, डंडे, फरसे व कुल्हाडी़ से लैस थे, जिनको संरक्षण पंकज सोनकर थानाध्यक्ष देते हैं कारण राजेंद्र कुमार अवैध व्यवसायी है, जो खनन व लकड़ी कटाई के काम के साथ ही भीमार्मी का सदस्य भी है, एसएचओ पंकज सोनकर भी दलित उत्प्रेरक की भूमिका में सदैव रहते हैं।

आप ऊपर लगे रायबरेली पुलिस के भ्रामक बयान को देख सकते हैं। जहां गांव वाले राजेंद्र के पक्ष से आये हमलावरों की संख्या 40 से 50 बता रहें हैं वहीं पुलिस विभाग के बयान में यह संख्या 8 से 10 मात्र बताई जा रही है। वहीं डीह से शिवगुलाम का पुरवा की दूरी लगभग 5 किमी. है। आखिर पुलिस विभाग के थानाध्यक्ष नें दूसरे पक्ष की शिकायत अब तक पंजीकृत क्यों नही की। जहां पुलिस विभाग दूसरे पक्ष की शिकयत भी पंजीकृत होनें की बात कर रहा है, वहीं अभी तक विभाग की साईट पर मात्र 431 संख्या ही आखिरी पंजीकृत होना दिखाई पड़ रही है।


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