सरकार की महत्वकांक्षी योजना पूर्वांचल एक्सप्रेस हाईवे जो लखनऊ से बलिया तक के लिए बनाया गया था। लेकिन सरकारी व्यवस्था व मशीनरी के कर्तव्य विमुख होने से जनता के टैक्स का पैसा लगातार चोरी होने का मामला सामने आ रहा है।
जिसमें से पूर्वांचल एक्सप्रेस हाईवे की परिसंपत्तियों में कर्मचारियों की मिलीभगत से आए दिन विभिन्न प्रकार की चोरियां हो रही हैं। अभी हाल फिलहाल सीमेंट व लोहे के खम्भों की चोरी का मामला प्रकाश में आया है।
पूर्वांचल एक्सप्रेस वे पर लगातार चोरी की घटनाएं सामने आ रही हैं। पिछले दिनों में चोर यहां 425 से ज्यादा पिलर तोड़कर ले गए हैं। इतना ही नहीं सीमेंट के पोल भी चोरी हो गए हैं।
बैरिकेटिंग टूटने से पशु एक्सप्रेस वे के अंदर घुस रहे हैं। जिसके चलते दुर्घटना होने का खतरा बढ़ गया है। चोरी हुए 425 पिलरों की कीमत 11 लाख रुपए के आसपास है। यदि इसी तरह से चोरी होती रही तो प्रशासन को बड़ी आर्थिक हानि होगी साथ ही किसी दिन बड़ी दुर्घटना हो सकती है।
बता दें कि आए दिन विद्युत पोल, बैरिकेडिंग में लगे तार, केबल, मोटर व खंभों की बढ़ती चोरी से कर्मचारी भी परेशान हैं। चोरी की घटनाएं गाजीपुर के मरदह, भांवरकोल, बरेसर व कासिमाबाद थाना क्षेत्र में हुई हैं।
वहीं एक्सप्रेस वे की सुरक्षा के लिए प्रत्येक 25 किलोमीटर पर निगरानी के लिए आठ रिटायर्ड फौजियों की टीम लगाई जा रहे हैं। गश्ती दल भी सक्रिय है। पशु को पकड़ा जा रहा है। इधर एक्सप्रेसवे के निर्माण कंपनी ओरिएंटल स्ट्रक्चर इंजीनियर्स प्राइवेट लिमिटेड के प्रबंधक अजीत कुमार रावत का कहना है, कि बार- बार संबंधित थानों को लिखित रूप से सूचना देने के बाद भी पुलिस कार्रवाई नहीं कर रही है।
चोरी की घटनाएं होने से जहां सरकारी संपत्ति का नुकसान हो रहा है वही पशुओं के एक्सप्रेसवे पर चढ़ने से दुर्घटना होने की संभावना बढ़ रही है। पुलिस क्षेत्राधिकारी बलिराम का कहना है कि संबंधित थानों को चोरों की तलाश करने के लिए निर्देशित किया गया है।