लखनऊ। न्यायालय श्रीमान सी०जे०एम० महोदय जी, लखनऊ के आदेश के बाद दुर्गा प्रसाद त्रिवेदी उम्र 43 वर्ष लगभग पुत्र श्री कन्हैया लाल त्रिवेदी निवासी बरौरा हुसैनबाड़ी, थाना ठाकुरगंज, जिला लखनऊ। पीड़ित बनाम शिव रतन जायसवाल पुत्र अज्ञात, विशाल जायसवाल पुत्र शिवरतन जायसवाल, रितिक जायसवाल पुत्र शिवरतन जायसवाल उपरोक्त समस्त निवासीगण बरौरा हुसैन बाड़ी, थाना ठाकुरगंज, जनपद लखनऊ। व पुलिस विभाग के कर्मियों अनिल सिंह तोमर, बीट दरोगा अशोक सिंह तैनाती थाना ठाकुरगंज, जनपद लखनऊ। पर 156 (3) सी०आर०पी० के अंतर्गत मुकदमा पंजीकृत किया गया।
विपक्षीगण प्रार्थनापत्र वास्ते 156 (3) सी०आर०पी० के तहत प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज करने हेतु श्रीमान् जी, न्यायालय श्रीमान् जी से द्वारा अधिवक्ता प्रार्थी / वादी का निम्न निवेदन है……
यह कि प्रार्थी/ वादी उपरोक्त पते का निवासी है।
यह कि प्रार्थी/ वादी के घर के समीप खसरा सं 0442 जो कि सरकारी भूमि के रूप में रिकार्ड में दर्ज है, पर कुछ अपराधिक तत्व के लोग नजूल भूमि पर कब्जा करना चाहते है जिस कारण अपराधिक प्रवृत्ति के लोग आपसी रजिंश रखते है। खसरा की कापी सलग्नक सं 001 है । 3. यह कि दिनांक 08.01.2022 रात 10:30 बजे को उक्त विपक्षीगण मय साजिशन 8-10 लोग अज्ञात एक राय होकर प्रार्थी/ वादी को भद्दी-2 गालियां देते हुए प्रार्थी/ वादी के घर में घुसकर जबरदस्ती दुर्गा प्रसाद त्रिवेदी से मारपीट करना शुरू कर दिया, उक्त विपक्षीगणों द्वारा एक राय होकर बच्चों के साथ तथा महिला के साथ भी मारपीट की गई, तो प्रार्थी/ वादो की पत्नी ने अपने मोबाइल नम्बर से 112 नं पर पुलिस को फोन किया।
मौके वारदात पर पुलिस आई और बालागंज चौकी इंचार्ज अनिल सिंह तोमर को बुलाया जिसके द्वारा प्रार्थी/ वादी व विपक्षीगणों को थाना ठाकुरगंज ले जाया गया। यह कि विपक्षीगणों की ऊंची पहुंच तथा क्षेत्रीय पुलिस सं सांठ – गांठ होने के कारण प्रार्थी पर झूठा 151 दंप्रस की मुकदमा लिखाकर प्रार्थी/ वादी के थाने में लकअप से निकालकर चौकी इंचार्ज अनिल सिंह तोमर व बीट दरोगा अशोक सिंह आदि लोगो ने प्रार्थी को म – बहन की गन्दी- 2 गालिया देते हये थाने में मौजूद सिपाहियों की मदद से प्रार्थी को लात- घूसो, डन्डो व पट्टे से बुरी तरह से मारापीटा जिससे बहुत चोटे आयी और प्रार्थी बेसुध होकर जमीन पर गिर गया तो पुलिस वालों ने मारना- पीटना बंद किया।
5. यह दिनांक 09.01.2022 को पुलिस ने अपनी अभिरक्षा में ही रहते हुये प्रार्थी का मेडिकल भी करवाया जिसमें पुलिस द्वारा अभिरक्षा में कारित चोटो का स्पष्ट उल्लेख है। मेडिकल की कापी संलग्नक सं 2 है। 6. यह कि मेडिकल के उपरान्त डाक्टर द्वारा एक्स- रे की सलाह दी गयी लेकिन पुलिस ने जान बूझकर नहीं करवाया ताकि पुलिस की मार से प्रार्थी का बाये हाथ का अंगूठा फेक्चर हो गया था उसका साक्ष्य न मिला सके। प्रार्थी/ वादी ने पुलिस की अभिरक्षा में पुलिस द्वारा कारित चोटो व कुकृत्यों के सम्बन्ध में प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कर आवश्यक कार्यवाही करने के सम्बन्ध में प्रार्थना पत्र थाना- ठाकुरगंज लखनऊ तथा एसीपी व डीजीपी महोदय को दी कार्यवाही नहीं किये जाने की स्थिति में राज्य मानवाधिकार आयोग में भी दिया लेकिन आज तक विपक्षीगणों एवं थाना- ठाकुरगंज के अन्तर्गत चौकी इंचार्ज अनिल सिंह तोमर तथा बीट इंचार्ज अशोक सिंह के विरुद्ध न तो कोई मुकदमा पंजीकृत किया और न ही कोई कार्यवाही की। अधिकारियों को भेजी गई प्रार्थना पत्र संलग्नकं सं 3 है।
यह कि दोषी उक्त विपक्षीगण खुले घूम रहे हैं, उन पर न तो कोई मुकदमा पंजीकृत किया और न ही कोई कार्यवाही की गयी। अधिकारियों को भेजी गई प्रार्थना पत्र संलग्नकं सं 3 है। यह कि दोषी उक्त विपक्षीगण खुले घूम- घूमकर प्रार्थी/ वादी को जान से मार डालने की एलनिया धमकी दे रहे है कि यदि प्रार्थी/ वादी कोई कार्यवाही करेगा। तो उसे झूठे मुकदमों में फंसाकर जीवन बर्बाद कर देंगे।
यह कि प्रार्थी सीधा- साधा शान्ति प्रिय विधिपालक नागरिक है प्रार्थी/ वादी बहुत डरा व सहमा हुआ है। यह कि पुलिस द्वारा कारित चोटो के फोटोग्राफ व मेडिकल की छाया प्रति प्रार्थना पत्र के साथ अवलोकनार्थ संलग्न है। यह कि प्रार्थी/ वादी का न्यायालय श्रीमान जी ही अन्तिम सहारा है। प्रार्थना अतः न्यायालय श्रीमान जी से करबद्ध निवेदन है कि प्रार्थी/ वादी द्वारा उपरोक्त वर्णित तथ्यो की गम्भीरता को दृष्टिगत रखते हुए उक्त प्रकरण में दोषी व्यक्तियों के विरूद्ध प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज करने का आदेश पारित करें।